अफसरशाही की लेटलतीफी के चलते शैक्षणिक सत्र 2017-18 के मेधावियों को अभी तक लैपटॉप नहीं मिले हैं। प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद से अफसरों ने इस मामले को गंभीरता से नहीं लिया। देरी से जागी अफसरशाही की कार्यप्रणाली के चलते लैपटॉप की टेंडर प्रक्रिया भी सवालों में घिरी। मामला हाईकोर्ट तक पहुंच गया। सभी दिक्कतों को दूर करते हुए अब लैपटॉप की सप्लाई जिलों में पहुंचा दी गई है। संभावित है कि दो से तीन दिनों के भीतर जिला उपनिदेशक अपने स्तर पर लैपटॉप का आवंटन शुरू कर देंगे। सभी जिला अधिकारियों को शिक्षा निदेशालय ने स्कूल और कॉलेज के मेधावी विद्यार्थियों की सूची भी भेज दी है। 9700 मेधावियों में 8800 दसवीं व जमा दो कक्षा, 900 कॉलेज के विद्यार्थी हैं।
जनजातीय क्षेत्रों में मौसम साफ होने के बाद मिलेगी सप्लाई
2018-19 के मेधावियों के लिए शिक्षा विभाग खुद खरीदेगा लैपटॉप
शैक्षणिक सत्र 2018-19 के मेधावी विद्यार्थियों के लिए अब लैपटॉप की खरीद शिक्षा विभाग स्वयं करेगा। शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह फैसला लिया गया। विभाग जैम पोर्टल के माध्यम से लैपटॉप की खरीद करेगा। विभाग ने 2017-18 की खरीद प्रक्रिया विवादित होने के चलते राज्य इलेक्ट्रानिक कारपोरेशन के माध्यम से खरीद नहीं करने का फैसला भी लिया है। उधर, शिक्षा विभाग के लिए बीते कुछ सालों से लैपटॉप की खरीद कर रहे इलेक्ट्रानिक कारपोरेशन ने नाता टूटने पर लैपटॉप की चयन कमेटी में शामिल होने से इंकार कर दिया है। कारपोरेशन के अधिकारियों ने बताया कि वे स्वयं भी टेंडर प्रक्रिया में भाग लेंगे। ऐसे में चयन कमेटी में शामिल नहीं हो सकते हैं।