विधायक को स्कीमे बनवाने के लिए उपलब्ध करवानी होगी निशुल्क निजीभूमि

शिमला
हिमाचल में विधायक प्राथमिकता स्कीमें अब मुफ्त की जमीन पर ही बनेंगी। प्रदेश सरकार ने विधायकों से अनुरोध किया है कि वे एमएलए प्राथमिकता के तहत आगामी वित्त वर्ष के लिए केवल उन्हीं योजनाओं के प्रस्ताव भेजें, जिनके लिए मुफ्त में निजी जमीन मिलेगी।

विधायकों को दो टूक कहा है कि राज्य सरकार विधायक प्राथमिकता योजनाओं की अधिग्रहण लागत नहीं देगी। सरकार ने आगामी वार्षिक बजट के लिए विधायकों से सड़क, लघु सिंचाई और ग्रामीण पेयजल योजनाओं के लिए दो-दो प्रस्ताव मांगे हैं।

हिमाचल सरकार के योजना विभाग ने सभी विधायकों को पत्र भेजा है कि आगामी वार्षिक बजट 2016-17 के लिए विधायकों की प्राथमिकताओं के निर्धारण के लिए मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह की अध्यक्षता में चार और पांच फरवरी को दो दिवसीय बैठक हो रही है।

विधायक अपने निर्वाचन क्षेत्र में तीन मुख्य विकास शीर्षों सड़कें-पुलों, लघु सिंचाई योजनाओं और ग्रामीण पेयजल योजनाओं के प्रस्ताव भेजें। इनमें दो-दो वास्तविक नई योजनाओं (आरएनएस) और चालू स्कीमों के प्रस्ताव भेजे जाएं।

विधायकों से अनुरोध किया गया है कि वे अपने प्रस्तावों को भेजते हुए ये ध्यान रखें कि प्रस्तावित योजनाओं के लिए निजी भूमि के मामलों में सरकार अधिग्रहण की लागत नहीं देगी।

भू-स्वामियों को ऐसी भूमि स्वेच्छा से ही योजना निर्माण के लिए देनी होगी। सिंचाई योजनाओं की बात करें तो केवल ऐसी ही योजनाएं वित्तपोषित हो पाएंगी, जिनमें लाभार्थी स्वेच्छा से प्रचालन और रखरखाव के लिए सहमति देंगे।

अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त एवं योजना श्रीकांत बाल्दी ने कहा कि योजनाओं में किसी तरह का कोई विवाद नहीं हो, इसीलिए सरकार की ये कोशिश रहती है कि जो भूमि आसानी से मिले, वही ठीक है। इससे योजनाएं धरातल पर आसानी से लागू हो पाएंगी। विधायकों से भी यही अनुरोध किया गया है।

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